निगम को करोड़ों का चूना लगाने वाले अधिकारियों पर चार माह के बाद भी कार्यवाही नहीं


नगर निगम को राजस्व हानि पहुंचाने वाले अधिकारियों पर चार महीने के बाद भी नहीं कसा शिकंजा
उज्जैन, नगर निगम सिटी बस मामले में हुए भ्रष्टाचार की काली किताब का पन्ना उज्जैन नगर निगम के सिंघम के नाम से जाने जाने वाले निगम कमिश्नर अंशुल गुप्ता ने खोल तो चार माह से दिया , उज्जैन सिटी बस संचालन और संधारण के मामले में कई अनियमितताएं हुई जिसके सारण नगर निगम के अधिकारियों ने ही नगर निगम को करोड़ों रुपए की राजस्व हानि पहुंचाई , जिसके चलते मामले की छानबीन करते हुए निगम कमिश्नर ने नगर निगम के 3 अधिकारियों को लगभग ढाई करोड़ से अधिक की राजस्व हानि नगर निगम को पहुंचाने का जिम्मेदार माना था , जिसके तहत नगर निगम के तीनों अधिकारियों को निगम कमिश्नर ने जून 20022 में नोटिस थमाया था,लेकिन चार माह बीतने के बाद भी करोड़ों का निगम को चुना लगाने वाले अधिकारियों पर कोई कार्यवाही नहीं हुई है।


गौरतलब है कि uभार अपने कार्यभार के साथ नगर निगम की कुर्सी पर काबिज हैं ऐसे में सवाल यह उठता है कि जब नगर निगम कमिश्नर ने ही निगम अधिकारियों को निगम को राजस्व करोड़ों रुपए की हानि पहुंचाने का दोषी मानकर नोटिस जारी किए थे,बावजूद इसके चार माह बीतने के बाद भी कोई कार्यवाही नहीं होना , बहोत से प्रश्नों को जन्म दे रहे हैं,अब देखना यह है कि निगम कमिश्नर अपनी ही जांच के बाद ,अपने ही नोटिस के बाद ,अपने ही विभाग के भ्रष्टाचार में लिप्त अधिकारियों पर कोई कार्यवाही कर पाते हैं या नहीं।


